🗓️ देहरादून/उदयपुर, 15 अक्टूबर 2025 — भारत की सांस्कृतिक विरासत को सहेजने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल करते हुए उत्तराखंड के पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ने घोषणा की है कि भगवान बुद्ध के पवित्र पिपरहवा अवशेषों की प्रदर्शनी अब देहरादून में भी आयोजित की जाएगी। यह निर्णय राजस्थान के उदयपुर में आयोजित ‘राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों के पर्यटन मंत्रियों के सम्मेलन’ के अंतिम दिन लिया गया।
👥 केन्द्रीय मंत्री से हुई विशेष चर्चा सम्मेलन के दौरान श्री महाराज ने केन्द्रीय मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत से उत्तराखंड की आध्यात्मिक और प्राकृतिक धरोहरों पर चर्चा की। इस दौरान श्री शेखावत ने बताया कि 127 वर्षों के बाद भगवान बुद्ध के पिपरहवा अवशेषों को हांगकांग में नीलामी से बचाकर 30 जुलाई 2025 को भारत वापस लाया गया है। इन अवशेषों की प्रदर्शनी शीघ्र ही नई दिल्ली में आयोजित की जाएगी, जिसका उद्घाटन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी करेंगे।
📍 देहरादून में प्रदर्शनी की स्वीकृति श्री महाराज ने केंद्रीय मंत्री से अनुरोध किया कि चूंकि देहरादून में तिब्बती समुदाय और बुद्ध अनुयायियों की बड़ी संख्या है, इसलिए प्रदर्शनी को वहां भी लगाया जाना चाहिए। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए श्री शेखावत ने देहरादून में भी प्रदर्शनी आयोजित करने की सहमति दी।
🌏 भारत की सांस्कृतिक शक्ति का प्रतीक श्री महाराज ने कहा कि ये अवशेष भारत की स्थायी सांस्कृतिक विरासत और सॉफ्ट पावर डिप्लोमेसी का प्रतीक हैं। प्रधानमंत्री के नेतृत्व में भारत सरकार ने नीलामी को सफलतापूर्वक रोककर इन्हें स्वदेश लाने का ऐतिहासिक कार्य किया है, जो देश की आध्यात्मिक पहचान को सशक्त करता है।